संविलियन भर्ती मामला फिर आने लगा चर्चाओं में
पूर्व के पत्र के आधार पर कार्रवाई करने की की गई मांग
भाजपा बना रही दूरी तो कांग्रेस उछाल रही गेंद
राजनगर
संविलियन भर्ती मामला जिसे व्यापम जैसे भर्ती घोटाले के रूप में देखा जा रहा था जिसकी शिकायतों के बाद संबंधित अधिकारियों के ऊपर कार्यवाही भी हुई थी किंतु फर्जी भर्ती हुए संविलियन कर्मचारियों द्वारा न्यायालय में कूट रचित दस्तावेजों एवं गलत साक्ष के आधार पर न्यायालय को गुमराह कर बिना कार्य के ही पेमेंट लेने का आदेश जब से आया है और परिषद द्वारा उन कर्मचारियों का जो या तो कार्य किए नहीं या फिर अन्य जगहों पर कार्य किया फिर भी बिना कार्य किए ही 32 महीने का भुगतान किया गया है जिसे लेकर मामला गर्मा गया है
और संविलियन कर्मचारी तथा मास्टर कर्मचारी इस पूरे मामले को लेकर आमने-सामने है जहां मास्टर कर्मचारी द्वारा न्यायालय से लेकर आंदोलन तक का रास्ता अपनाया जा रहा है जिसे राजनीतिक पार्टी एवं अन्य लोगों का भी सहयोग मिल रहा है
इसी कड़ी में इस पूरे मामले को कांग्रेस अपने पाले में करने का प्रयास कर रही है जबकि इस भर्ती में अधिकांश भाजपा नेताओं के एवं उनके परिचितों के लोग सामिल हैं जिससे वह लोग दूरी बनाए हुए हैं
जिसे लेकर युवा कांग्रेस के जिला अध्यक्ष गुड्डू चौहान कांग्रेस के वरिष्ठ नेता जेपी श्रीवास्तव संतोष यादव राजू श्रीवास्तव ने मास्टर कर्मचारी के साथ मिलकर
रामनगर थाने में जाकर नगर परिषद बनगवां (राजनगर) डोला डूमर कछार में फर्जी तरीके से हुए संविलियन भर्ती के फर्जी भर्ती संविलियन घोटाले में जो पूर्व में आए हुए आदेशो कार्यालय संयुक्त संचालक के पत्र क्रमांक 245/सं.सं./क्रमांक 2024 दिनांक 8- 4-24 एवं पत्र क्रमांक कार्यालय संयुक्त संचालक क्रमांक 1024/स. स./2024 दिनांक 02.07.24 पर F I R करना था जो इस फर्जी भर्ती में शामिल अधिकारी एवं कर्मचारी थे जो अभी तक इस मामले में F I R नहीं किया गया इसको लेकर रामनगर थाना में थाना प्रभारी सुमित कौशिक को आवेदन दिया गया की
इन कर्मचारी एवं अधिकारियों के ऊपर आपके थाने से उचित कार्रवाई नहीं की गई इसलिए फिर हम सभी लोग आज आपके पास आवेदन देकर, इस फर्जी संविलियन भर्ती में शामिल अधिकारी/कर्मचारी के ऊपर उचित कार्रवाई कर हमें अवगत कराएँ क्यों कि थाना रामनगर में इससे पूर्व मुख्य नगर पालिका अधिकारी, नगर परिषद् बनगवां (राजनगर) के द्वारा इन फर्जी संविलियन कर्मचारी के ऊपर कार्यवाही करने के लिए पत्र दिया गया था