किसानों के धान का रकबा कटना सरकार कि एक सोची समझी साजिश – प्रदुमन सिंह
कोरिया। कांग्रेस के आदिवासी नेता प्रदुमन सिंह ने सरकार की नाकामी बताते हुए कहा कि यह वर्ष 2025 प्रदेश के किसानों के लिए बेहद संघर्षपूर्ण रहा।किसान खेती के शुरुवाती समय से ही जिस प्रकार खाद-बीज से परेशान हुआ वह समय बेहद संघर्षपूर्ण रहा। किसान जैसे-तैसे खेती किए।कुछ दिन पहले बेमौसम बारिश से कुछ फसल खराब भी हुए।सभी प्रकार के चुनौतियों का सामना करते हुए किसान अपने फसलों की कटाई मिसाइल में लगे हुए हैं।तो वही दूसरी ओर अब किसानों के धान खरीदी का रकबा कटना सरकार की सुनियोजित षड्यंत्र है। सरकार जानबूझ कर किसानों के रकबा में कटौती कर रही ताकि सरकार को कम से कम धान खरीदी करना पड़े।
धान का रकबा कटना यह बता रहा है कि भाजपा सरकार का प्रति एकड़ 21 क्विंटल धान खरीदी करने का वादा कही न कही असमर्थ है, जिससे एक साजिश के तहत सभी किसानों के रकबा में कटौती किए है।
एक तो अब तक गिरदावरी हल्का पटवारियों या राजस्व विभाग के द्वारा किया जाता रहा है तो वही इस वर्ष अप्रशिक्षित व्यक्तियों द्वारा गिरदावरी हुई है जिससे किसान परेशान हुए।
युवा नेता प्रदुमन सिंह ने यह भी कहा की प्रशासन किसानों के रकबे में सुधार की प्रकिया भी अब लगभग बंद कर चुकी है जिससे वंचित हो रहे किसान परेशान हो रहे हैं। हमारा यही आग्रह और प्रयास है कि किसान पोर्टल को सुधार हेतु कुछ दिनों के लिए पुनः खोला जाए और किसानों को सूचित किया जाए ताकि किसान अपनी रकबे के अनुसार धान बेच सकें।


















