धार जिले में बे मौसम बारिश ने किसानों की मेहनत पर फेरा पानी, भारतीय किसान संघ ने सर्वे और मुआवज़े की उठाई मांग..
( शैलेंद्र जोशी )
धार जिले के मालवा निमाड़ क्षेत्र में एक बार फिर मौसम की मार किसानों पर पड़ी है । बेवक्त हुई बारिश ने प्याज की खड़ी फसल को भारी नुकसान पहुंचाया है । क्षेत्र के किसानों ने अपने खेतों में प्याज की फसल लगाकर 6 माह तक उसकी देखभाल की समय-समय पर खाद व जरूरत पड़ने पर दवाई का छिड़काव भी किया । इन 6 माह की कड़ी मेहनत के बाद जब फसल तैयार हो गई तभी बे मौसम हुई बारिश ने किसने की उम्मीद पर पानी फेर दिया
किसानों के खेत में तैयार खड़ी फसल बारिश की वजह से बर्बाद हो गई । क्षेत्र के किसान खेत में खड़ी प्याज की फसल को निकाल कर इस प्रयास में लगे हुए हैं कि थोड़ी बहुत भी इसमें से बचाई जा सके । कुछ किसानों ने तो प्याज की फसल निकालकर सूखने के लिए रखी थी वह भी गीली हो गई अब उसे भी बचाने के लिए किसान का पूरा परिवार जूटा हुआ है
जब क्षेत्र के प्रभावित किसानों से चर्चा की गई तो यह बात भी सामने आई की प्राकृतिक आपदा के बाद किसान को होने वाले नुकसान को लेकर नेता सार्वजनिक तौर पर तो चिंतित नजर आते हैं लेकिन वास्तव में देखा जाए तो कोई भी नेता किसानों के साथ खड़ा नजर नहीं आता है , सिर्फ दिखावा करते हैं
क्षेत्र के प्रभावित किसान नेताओं से तो कोई अपेक्षा नहीं कर रहे हैं लेकिन प्रशासन से जरूर अपेक्षा करते दिखाई दे रहे हैं कि समय रहते प्रशासन बेमौसम की बारिश से नष्ट हुई फसलों का सर्वे करा कर प्रभावित किसानों को मुआवजा राशि प्रदान करेगा ।
इधर भारतीय किसान संघ ने भी प्रशासन से सर्वे करवा कर मुआवज़ा देने की मांग की है
जिले में एक बार फिर मौसम का कहर देखने को मिला है। अप्रैल-मई की इस असमय बारिश ने किसानों के अरमानों पर पानी फेर दिया है। खासतौर पर प्याज की फसल को भारी नुकसान हुआ है। खेतों में खड़ी प्याज की फसल या तो गल गई है या फिर पूरी तरह खराब हो चुकी है
किसानों का कहना है कि उन्होंने पिछले 6 महीनों से इस फसल पर दिन-रात मेहनत की थी और बड़ी मात्रा में पैसे भी खर्च किए थे, लेकिन अब उन्हें लागत निकालना भी मुश्किल हो गया है
भारतीय किसान संघ के ज़िला धार के प्रतिनिधि अनमोल पाटीदार ने प्रशासन से अपील की है कि जल्द से जल्द किसानों की फसलों का सर्वे करवाया जाए और उन्हें उचित मुआवज़ा दिया जाए। उन्होंने यह भी कहा कि राजस्व और उद्यानिकी विभाग को भी इस विषय में गंभीरता से ध्यान देना चाहिए
बड़ी मात्रा में प्याज की फसल के खराब होने से आने वाले दिनों में प्याज की कीमतों में भी बढ़ोतरी होने की संभावना है जो कहीं ना कहीं आम जनता की जैबों भर भारी पड़ सकती है । अब देखना होगा कि आने वाले समय में यदि प्याज की किमतों में उछाल आता है तो उस पर राजनीति का क्या असर होगा