चचाई स्थित सेलो प्लांट से लगातार उड़ने वाली राख (राखड़) स्थानीय लोगों के लिए गंभीर समस्या बन गई है। यह राख न केवल वातावरण को दूषित कर रही है, बल्कि इसके कारण सड़क हादसों का खतरा भी बढ़ रहा है। हाल ही में अनूपपुर निवासी एक व्यक्ति की सेलो प्लांट से उड़ने वाली राख के कारण एक दुर्घटना में गंभीर चोटें आईं, जिसे जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया।
घटना की जानकारी:
कुछ दिन पहले, सेलो प्लांट से उठने वाली राख ने सड़क पर धुंध जैसा माहौल बना दिया, जिससे दृश्यता बहुत कम हो गई। इस धुंध के चलते अनूपपुर निवासी एक व्यक्ति का वाहन अनियंत्रित हो गया और वह दुर्घटना का शिकार हो गया। इस दुर्घटना में उसे गंभीर चोटें आईं और तत्काल उसे अनूपपुर जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया। डॉक्टरों ने उसकी स्थिति को नाजुक बताया है।
स्थानीय निवासियों की परेशानी:
चचाई क्षेत्र के लोग लंबे समय से सेलो प्लांट से उड़ने वाली राख से परेशान हैं। राख से न केवल पर्यावरण प्रदूषित हो रहा है, बल्कि लोगों के स्वास्थ्य पर भी बुरा असर पड़ रहा है। यह राख हवा में उड़कर आसपास के इलाकों में फैल जाती है, जिससे सांस लेने में दिक्कत, आंखों में जलन और अन्य स्वास्थ्य समस्याएं हो रही हैं। इसके अलावा, यह सड़क हादसों का भी कारण बन रही है, क्योंकि राख सड़क पर जमा होकर फिसलन पैदा कर देती है, जिससे वाहन चालक अक्सर दुर्घटना का शिकार हो जाते हैं।
प्रशासन की उदासीनता:
स्थानीय निवासियों का कहना है कि उन्होंने कई बार प्रशासन और संबंधित अधिकारियों से इस समस्या की शिकायत की है, लेकिन अब तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। लोगों को डर है कि यदि जल्द ही इस पर कोई कार्रवाई नहीं की गई, तो इस तरह की दुर्घटनाएं और भी बढ़ सकती हैं।
उपाय और समाधान:
स्थानीय लोगों ने मांग की है कि सेलो प्लांट के अधिकारियों को तुरंत प्रभावी कदम उठाने चाहिए। राख को नियंत्रित करने के लिए सही तकनीकी उपायों का उपयोग करना चाहिए, ताकि उड़ने वाली राख से होने वाले प्रदूषण और दुर्घटनाओं को रोका जा सके। साथ ही, प्रशासन को सड़क सुरक्षा के उपाय भी सुनिश्चित करने चाहिए ताकि इस तरह के हादसों से बचा जा सके।